अरबी एक सब्जी है, जो कंद की श्रेणी में आती है. स्वास्थ्य के लिए इसे खासा गुणकारी माना जाता है. यह दिल की गति को सामान्य बनाए रखती है तो पेट के लिए भी लाभकारी है. बीपी को कंट्रोल करने में भी फायदेमंद मानी जाती है अरबी. कंद-मूल मानव सभ्यता के खानपान के अभिन्न अंग रहे हैं. कहा जाता है कि भगवान श्रीराम ने 14 वर्ष के वनवास के दौरान कंद-मूल का खूब सेवन किया था. गुफाओं, वनों में तपस्या करने वाले ऋषि-मुनि भी हजारों सालों से इसका सेवन कर रहे हैं.
खाए जाते हैं अरबी के पत्ते भी
कंद-मूल की विशेषता यह होती है कि इसे उबालकर खाने से ही शरीर के लिए गुणकारी बन जाते हैं. अरबी भी इन्हीं में से एक है. अफ्रीकी देशों में तो सालों से इस जैसे कंद-मूल का आर्थिक महत्व भी है. अब इस जैसे कंद-मूल का प्रयोग भोजन के अलावा आटा, ब्रेड, नूडल्स, केक, पेय पाउडर आदि के रूप में भी किया जा रहा है. भारतीय कृषि अनुसंधान संस्थान के वरिष्ठ वैज्ञानिक और ‘वेजिटेबल’ पुस्तक के लेखक डॉ. बिश्वजीत चौधरी के अनुसार, अरबी एक ऐसा कंद है, जिसके पत्ते का भी भोजन के रूप में इस्तेमाल होता है. बस, शर्त यह है कि इसे अच्छी तरह पकाया जाए वरना यह गले और तालू में खुजली पैदा कर देगा. आजकल तो अरबी का चिप्स के रूप में भी इस्तेमाल हो रहा है.