Jaunpur News:पुस्तकालय विज्ञान के पितामह थे डा रंगनाथन

रिपोर्ट–मनोज कुमार सिंह

जलालपुर —-भारतीय पुस्तकालय विज्ञान के जनक पद्मश्री डॉ एस आर रंगनाथन की 132 वी जयंती कुटीर महाविद्यालय चक्के के पुस्तकालय मे सोमवार को मनाई गई। इस अवसर पर एक गोष्ठी का आयोजन हुआ। ग्रंथाध्यक्ष विद्यानिवास मिश्र ने डॉ रंगनाथन के जीवन को रेखांकित करते हुए बताया कि पुस्तकालय विज्ञान के पितामह थे डॉ रंगनाथन आज सभी पुस्तकालयों में वर्गीकरण के आधार पर किताबें रखी जाती हैं। पुस्तकालय पर दिए उनके पांच नियम पूरे विश्व में मान्य हैं। कोलन वर्गीकरण और क्लासिफाइड कैटलॉग कोड भी उन्हीं की देन है।

शिक्षा संकायाध्यक्ष डॉ सी सी पाठक ने बताया कि डॉ. रंगनाथन का कहना था कि पुस्तकालय तीन चीजों पर आधारित है। पहला जरूरी किताबें, दूसरा पाठक और तीसरा कर्मचारी। डॉ नीता तिवारी डॉ रामेश्वर नाथ मिश्र डॉ योगेश पाठक ने डॉ रंगनाथन के व्यक्तित्व को साझा किया। इस अवसर पर अनामिका शुक्ला वंदना मिश्रा अनुपमा हितेंद्र दुबे दुर्गेश मिश्र इत्यादि लोग उपस्थित रहे

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