केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने ली काशी व गोरक्ष क्षेत्र के भाजपा पदाधिकारियों की क्लास

रोहित सेठ

पूर्वांचल की हर एक सीट की हुई समीक्षा 

वाराणसी – यूपी में 2022 के विधानसभा चुनाव (UP Assembly Election 2022) भले ही साल की शुरुआत में होने हो, लेकिन पांच राज्यों के होने वाले विधानसभा चुनाव में भाजपा की इज्जत का सवाल उत्तर प्रदेश बना (UP became a question of respect for BJP) हुआ है. शायद यही वजह है कि इन तैयारियों को अमलीजामा पहनाने के लिए खुद केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने इस जिम्मेदारी को अपने कंधों पर ले रखा है। उत्तर प्रदेश में 2022 के विधानसभा चुनाव (UP Assembly Election 2022) भले ही साल की शुरुआत में होने हो, लेकिन पांच राज्यों के होने वाले विधानसभा चुनाव में भाजपा की इज्जत का सवाल उत्तर प्रदेश बना (UP became a question of respect for BJP) हुआ है. योगी सरकार के कामकाज (yogi government work) और भाजपा के विधायकों के रिपोर्ट कार्ड (Report cards of MLAs in UP) के आधार पर भाजपा ने एक बार फिर से लोगों के बीच जाने की तैयारी की है. शायद यही वजह है कि इन तैयारियों को अमलीजामा पहनाने के लिए खुद केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने इस जिम्मेदारी को अपने कंधों पर ले रखा है।

लगातार उत्तर प्रदेश समेत पूर्वांचल के अलग-अलग जिलों का दौरा करते हुए अमित शाह मंगलवार को वाराणसी पहुंचे. हालांकि, ज्ञानपुर की जनसभा कैंसिल होने की वजह से वहां लोगों में मायूसी रही, लेकिन वाराणसी में गृहमंत्री ने कड़कड़ाती ठंड में कार्यकर्ताओं व पदाधिकारियों की जमकर क्लास ली. वहीं, देर रात तक अमित शाह की क्लास जारी रही और पूर्वांचल की सभी सीटों पर भाजपा कोर कमेटी की बैठक (BJP core committee meeting) में विस्तार से चर्चा हुई।

भारतीय जनता पार्टी के उच्च पदस्थ सूत्रों के मुताबिक अमित शाह की वाराणसी शहर से लागभग 15 किलोमीटर दूर हरहुआ कोइराजपुर स्थित गोकुल लॉन में होने वाली बैठक रात करीब 11 बजे तक चली. इस बैठक में भाजपा कोर कमेटी के सदस्यों के तौर पर वाराणसी महानगर जिला काशी क्षेत्र व गोरक्ष क्षेत्र के सभी पदाधिकारी मौजूद थे. अध्यक्ष से लेकर संगठन मंत्रियों तक की मौजूदगी में गृहमंत्री अमित शाह ने सभी से बारी-बारी से उनकी चुनावी तैयारियों के बारे में जानकारी ली. हर जिले में भाजपा की क्या स्थिति है, वर्तमान में भाजपा के विधायकों का क्या फीडबैक है और टिकट बंटवारे के लिए विधायकों का क्या रिपोर्ट कार्ड है. इन सभी बातों पर गहन मंत्रणा हुई इससे पहले गृहमंत्री ने सर्किट हाउस में विश्राम से पहले सूबे के उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, उपमुख्यमंत्री दिनेश शर्मा और यूपी कैबिनेट के अन्य कुछ मंत्रियों के साथ करीब एक घंटे तक बातचीत की. वहीं, इस बैठक में वाराणसी के 8 में से 6 सीटों के भाजपा विधायक भी मौजूद थे. इस दौरान इन विधायकों से उनके कामकाज का लेखा-जोखा भी मांगा गया. साथ ही कहा गया कि वो सभी अपने पांच साल के कार्यकाल के दौरान क्षेत्र के विकास में क्या कुछ किए हैं उसकी एक विधिवत रिपोर्ट यथाशीघ्र मुहैया कराए.

इसके अलावा गृहमंत्री ने 19 तारीख से गाजीपुर जिले से शुरू की गई भारतीय जनता पार्टी की जन विश्वास यात्रा को लेकर भी बैठक की. इस बैठक में यात्रा के लिए बनाए गए सभी प्रभारी मौजूद रहे. यात्रा की सफलता हर जिले में हो उसका भव्य स्वागत हो और यात्रा के जरिए भाजपा हर वोटर तक पहुंच सके, इन सभी बातों पर ध्यान केंद्रित किया गया है.
बता दें कि पिछले विधानसभा चुनाव (2017) में यहां की कुल 156 में से 106 सीटों पर भाजपा की जीत हुई थी और इस बार भी भारतीय जनता पार्टी की निगाह पूर्वांचल की इन सभी सीटों पर है. वहीं, इस बार 115 सीटों पर जीत का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. यही वजह है कि गृहमंत्री कहीं कोई कोर कसर नहीं छोड़ना चाह रहे हैं और हर सीट पर जिताऊ प्रत्याशियों को उतारने की तैयारी की जा रही है।

 

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